Aarogya Anka

आयुर्वेद दुनिया का प्राचीनतम चिकित्सा प्रणाली है Ιऐसा माना जाता है की बाद मे विकसित हुई अन्य चिकित्सा पद्धतियों मे इसी से प्रेरणा ली गई है Ιकिसी भी बीमारी को जड़ से खत्म करने के खासियत के कारण आज अधिकांश लोग आयुर्वेद के तरफ जा रहे हैΙइस लेख मे हम आयुर्वेद चिकित्सा से जुड़ी हर एक रोग और उसके इलाज के बारे मे बताएंगे Ιआयुर्वेद चिकित्सा के साथ सभी प्रकार के जड़ी -बूटी के बारे मे तथा आयुर्वेद के 8 प्रकारों से हर तरह के रोगों के इलाज के बारे मे बताया गया हैΙ सभी पोस्टों को पढे ओर जानकारी अवश्य ले ताकि आप भी अपना जीवन आरोग्य के साथ healthy बना सके| thanks . 

बच्चों में डायरिया/Dayriya(Diarrhoea)- कारण, लक्षण और उपचार

बच्चों में dayriya(डायरिया) आज एड्स-रोग चर्चाका विषय बना हुआ है। प्रतिदिन कुछ-न-कुछ इसके बारेमें सुनने और पढ़नेको मिलता है। किंतु डायरिया रोगकी भयङ्करता एड्ससे इस मामलेमें ज्यादा है कि दो दिनोंमें डायरियासे मरनेवालोंकी संख्या दो वर्षोंमें एड्ससे मरनेवालोंसे कहीं अधिक है। टीकाकरण आदिके द्वारा इसकी मृत्युदरको कम किया जा सकता है। ~ डायरिया(dayriya) खतरनाक क्यों … Read more

Arthritis(संधिवात) – कारण और निवारण🦿

~Arthritis(संधिवात)~ यद्यपि संधिवात(arthritis) एक सामान्य व्याधि समझी जाती है, परंतु इस व्याधिसे पीडित व्यक्ति ही जान सकता है कि यह व्याधि कितनी कष्टदायक है। इसके ‘निदान’ आदिके विषयमें संक्षिप्त विचार किया जाता है- Arthritis(संधिवात)के निदान- आयुर्वेदने संधिवात/ आर्थ्राइटिस को वातव्याधिमें परिगणित किया है। संधिवातमें वायुका प्रकोप विशेषरूपसे होता है। प्रायः आहार-विहारके अनुचित सेवनसे यह रोग होता … Read more

❤️heart diseases(हृदय रोग) के कारण,लक्षण और बचाव 🫀

heart diseases(हृदय रोग) हमारे शरीरमें स्थित मुट्ठीके आकारका हृदय(heart) एक मिनटमें 70 बार धड़कता है और एक घंटेमें 300 लीटर रक्त शरीरके अङ्ग प्रत्यङ्गमें प्रसारित करता है। हृदयका मुख्य कार्य रक्तको शुद्ध करके शरीरके प्रत्येक हिस्सेमें रक्तकी आपूर्ति करना है। जब रक्तप्रवाहमें रुकावट आती है तो हृदयको अपना कार्य करनेमें कठिनाई होती है। रक्तप्रवाहमें अवरोध … Read more

best remedies for some diseases:कुछ रोगों के अनुभूत प्रयोग:

best remedies for- 1. दारुण शिर:शूल – कुछ समय पूर्वकी बात है, शिरःशूलका एक रोगी बहुत समय तो इधर-उधर उपाय करता रहा। कोई आराम न मिलनेपर कई नामी चिकित्सकोंसे मिला तथा आतुरालयमें भी पड़ा रहा। अन्ततः आतुरालयमें जब करीब दो मास व्यतीत हो गये तब डॉक्टर साहबने कहा-दिमागमें रसौली (भौंहोंके पास आँखके ऊपर गिल्टी निकलनेका एक … Read more

मस्तिष्क को शक्ति देता है केला: banana:🧠

Banana:केला:~ केला(banana) फल ही नहीं रोगोंसे लड़नेवाला योद्धा है। इससे मस्तिष्कको सेरोटोनिन मिलती है। मानसिक रूपसे परेशान व्यक्तियोंके मस्तिष्कमें सेरोटोनिनकी कमी होती है। केलेमें यह कमी पूरी करनेकी अद्भुत क्षमता है। केला मोटापा नहीं बढ़ाता। केलेमें सोडियम बहुत कम होता है तथा कोलेस्ट्रोल बिलकुल नहीं होता। अतः डाइटिंग करनेवाले इसका सेवन कर सकते हैं। केलेमें … Read more

परम पवित्र तुलसी के औषधीय उपयोग: uses of tulsi:

~तुलसी:tulsi:- तुलसी(tulsi) का पौधा परम पवित्र है। सहस्रों वर्षोंसे हिन्दू तुलसीकी उपासना करते आ रहे हैं। तुलसीको हम मन्दिरोंके सम्मुख तो लगाते ही हैं, घरोंमें भी तुलसीका रोपण कर अपनेको धन्य समझते हैं। तुलसीमें सभी देवोंका निवास है। तुलसीसे जल पवित्र हो जाता है। तुलसीको गन्ध विकारनाशक है। तुलसी (tulsi) का औषधीय महत्त्व भी है। … Read more

कुछ घरेलू औषधियाँ(गिलोय/अमृता,आँवला,तुलसी,हल्दी… इत्यादि) के महत्व एवं प्रयोग:

*दैनिक जीवन मे उपयोगी आयुर्वेदिक घरेलू औषधियाँ– आज सम्पूर्ण विश्व वनस्पतियोंसे निर्मित औषधियोंकी ओर आकर्षित हो रहा है; क्योंकि मनुष्यको यह आभास हो गया है कि कृत्रिम औषधियाँ जहाँ एक ओर रोगको शान्त करती हैं वहीं दूसरी ओर शरीरके अङ्ग प्रत्यङ्गमें घातक प्रभाव डालकर कालान्तरमें जीवनको नष्ट करनेवाले रोगोंको भी उत्पन्न कर देती हैं। जबकि … Read more

Sujok therapy: सूजोक चिकित्सा पद्धति: क्या है?

Sujok therapy(सूजोक चिकित्सा पद्धति) क्या है? ‘(Sujok therapy)सुजोक-चिकित्सा’ एक्यूप्रेशर(Acupressure)-एक्यूपंक्चर-चिकित्सा पद्धतिपर ही आधारित है। ‘सुजोक‘ कोरियन भाषाका शब्द है, कोरियाकी भाषामें ‘सु’ का अर्थ है हाथ और ‘जोक‘ का अर्थ है पैर। हमारे हाथ एवं पैरोंके अङ्गोंकी बनावटमें हमारे शरीरकी बनावटसे काफी समानता है| अतः हाथ तथा पैरके सूक्ष्म विन्दुओंका ज्ञान प्राप्त करके रोगोंकी चिकित्सा की जा … Read more

High blood pressure(उच्च रक्तचाप)- का आयुर्वेदिक उपचार

आयुर्वेद-चिकित्सा-प्रणालीमें ‘(high blood pressure )उच्च रक्तचाप’ नामका कोई रोग नहीं है-यह मानना सर्वथा भूल है। इसका वर्णन आयुर्वेदशास्त्रोंमें वातरोगोंके अन्तर्गत आता है। इसका आयुर्वेदिक नाम ‘शिरागत वात’ है। रक्तवाहिनियों तथा धमनियोंपर रक्तका अधिक दवाव पड़ना और उनका कठोर हो जाना ही ‘शिरागत वात’ है। शिरा और कोशिकाओंकी दीवारोंपर भी रक्तके अधिक दवावके कारण high blood pressure होता … Read more

Abhyarishta(अभ्यारिष्ट)Amritarishta(अमृतारिष्ट)बनाने की विधि,मात्रा व उपयोग

Abhyarishta(अभ्यारिष्ट)- बड़ी हरड़ का छिलका 5 सेर, मुनक्का 2½ सेर, महुआ के फूल और बायविडंग 40-40 तोला लेकर कूटने योग्य चीजों का जौकुट चूर्ण तैयार कर लें और इन ओषधियों को । मन 11 सेर 16 तोला जल में डालकर पकायें। (काढ़ा बनावें।) चौथाई जल शेष रहने पर शीतल करके छान लें। अब इसमें 8 … Read more